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भक्ति और सूफी आंदोलन
भक्ति और सूफी आंदोलन सूफीमत- 1. सूफीवाद इस्लाम के भीतर ही एक सुधारवादी आंदोलन के रूप में ईरान से शुरू हुआ था, जिसमें शिया और सुन्नी सम्प्रदायों के मतभेदों को दूर करने का प्रयास किया गया। 2. सूफी शब्द की उत्पत्ति अरबी भाषा के सफा शब्द से हुई है जिसका अर्थ है पवित्रता अर्थात जो…
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दिल्ली सल्तनत की आर्थिक और प्रशासनिक व्यवस्था , कला और साहित्य
सल्तनत काल की भूराजस्व व्यवस्था दिल्ली सल्तनत की आर्थिक और प्रशासनिक व्यवस्था , कला और साहित्य दिल्ली सल्तनत काल में कर व्यवस्था शरीयत के आधार पर निर्धारित थी। शरीयत के अनुसार 4 प्रकार के करों का उल्लेख मिलता है। जिनका विवरण निम्नलिखित है- 1. खराज- यह भूराजस्व कर था जो हिन्दू किसानों से वसूला जाता था। इसकी…
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लोदी वंश
लोदी वंश (1451-1526 ई.) बहलोल लोदी-(1451-1489ई.) सिकंदर लोदी (1489 ई. ) :- सिकंदर लोदी लोदी वंश का द्वितीय शासक था।यह बहलोल लोदी का छोटा पुत्र था। सिकंदर लोदी का वास्तविक नाम निजाम खाँ था।यह 17 जुलाई 1489ई. में दिल्ली की गद्दी पर बैठा था। एक इतिहासकार के अनुसार, ‘सिकन्दर ने नगरकोट के ज्वालामुखी मंदिर की मूर्ति को तोड़कर…
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सैयद वंश
सैयद वंश (1414-1451 ई.) खिज्र खां (1414-1421 ई.)- मुबारक शाह (1421-1434ई.)- मुहम्मद शाह (1434-1445ई.)- आलमशाह (1445-1451 ई.)-
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दिल्ली सल्तनत-तुगलक वंश
तुगलक वंश दिल्ली सल्तनत का एक राजवंश था, जिसने 1320 ई.से लेकर 1414ई. तक दिल्ली की सत्ता पर शासन किया। गयासुद्दीन तुगलक (1320-1325ई.) 5 सितंबर 1320 का खुसरो को पराजित करके गाजी तुगलक ने गयासुद्दीन तुगलक के नाम से तुगलक वंश की स्थापना की। यह सुल्तान कुतुबुद्दीन मुबारक शाह खिलजी के शासन काल में उत्तर…
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खिलजी वंश
खिलजी वंश (1290-1320 ई.) खिलजी वंश का संस्थापक जलालुद्दीन खिलजी था। इसको अमीर वर्ग, उलेमा वर्ग, जनता का समर्थन प्राप्त नहीं था। खिलजी वंश को खिलजी क्रांति की संज्ञा दी गई है, इसके कारण निम्नलिखित हैं- खिलजी वंश के शासक– जलालुद्दीन फिरोज खिलजी (1290-98 ई.) जलालुद्दीन खिलजी द्वारा किये गये अभियान– जलालुद्दीन फिरोज खिलजी का अंत–…
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दिल्ली सल्तनत गुलाम वंश
दिल्ली सल्तनत गुलाम वंश दिल्ली सल्तनत का उदय कब हुआ ये तो सही प्रकार से ज्ञात नहीं है क्यूंकि मुस्लिम और अंग्रेज इतिहासकारों ने दिल्ली का इतिहास अपने हिसाब से लिखा है। विदेशी इतिहासकारों के मत से 1206 से 1526 तक भारत पर शासन करने वाले पाँच वंश के सुल्तानों के शासनकाल को दिल्ली सल्तनत…
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भारत में मुस्लिम आक्रमण
भारत में मुस्लिम आक्रमण भारतीय इतिहास में अरब और भारत संबंध का विशेष महत्त्व है। भारत में सबसे पहले आने वाले मुसलमान अरब हैं। अरबों की विजय का क्षेत्र सिंध व मुल्तान थे। मुहम्मद बिन क़ासिम प्रारंभिक तुर्क आक्रमण: सुबुक्तगीन भारत पर महमूद ग़ज़नवी के आक्रमण (1001-1026 ई.) महमूद ग़ज़नवी (971-1030 ई.) भारत पर आक्रमण…
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संगम काल का इतिहास
संगम काल का इतिहास काल निर्धारण :- संगम के काल निर्धारण को लेकर विद्वानों में मतभेद है। संगमों का आयोजन :- प्रथम संगम :- स्थल: मदुरै, अध्यक्ष – अगत्तियार(अगस्त ऋषि) सदस्यों की संख्या – 549, ग्रंथ – अगत्तियम द्वितीय संगम :- स्थल – कपाटपुरम/अलवै अध्यक्ष – अगत्तियार/तोलकाप्पियर सदस्यों की संख्या – 49, ग्रंथ – तोलकाप्पियम…
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पूर्व मध्यकाल में भारत के प्रमुख राजवंश
पूर्व मध्यकाल में भारत के प्रमुख राजवंश छठी शताब्दी के अंतिम चरण में गुप्त साम्राज्य के पतन के साथ भारतीय राजनीति में अनेक नए राज्यों का उदय हुआ। गुप्तों के पतन के बाद उत्तर में कन्नौज राजनीतिक शक्ति का प्रमुख केन्द्र बन गया। गुप्त साम्राज्य के पतन के परिणाम :- पाल वंश (बंगाल) :- पाल…